उदयपुर. राज्यसभा चुनाव से पहले कांग्रेस के राजस्थान से प्रत्याशी रणदीप सुरजेवाला ने बड़ा हमला बोलते हुए कहा कि शुक्रवार को होने वाले राज्यसभा चुनावों में प्रजातान्त्रिक बहुमत की जीत होगी, प्रजातंत्र का चीरहरण नहीं होगा लेकिन इस बीच सुरजेवाला की जुबान फिसल गई. द्रौपदी के चीरहरण की जगह वह सीता मैया के चीरहरण का जिक्र कर गए. सुरजेवाला जयपुर रवाना होने से पहले उदयपुर के ताज अरावली होटल के बाहर मीडिया से बात कर रहे थे. इसी दौरान उनकी जुबान फिसल गई. बीजेपी ने इस मुद्दे पर उन्हें जमकर घेरा. राजस्थान बीजेपी अध्यक्ष सतीश पूनिया ने अपने एक ट्वीट में सुरजेवाला पर हमला बोलते हुए कहा, “चीरहरण सीता मैया का नहीं हुआ था, प्रजातंत्र का चीरहरण भी आपातकाल लगाकर, सैंकड़ों बार अनुच्छेद 356 का दुरुपयोग कौरवों की भांति कांग्रेस ने ही किया है.”
सुरजेवाला ने मीडिया को संबोधित करते हुए कहा, “प्रजातांत्रिक बहुमत की जीत होगी. प्रजातंत्र का चीरहरण करने वाले लोग जो धनबल, ईडी, सीबीआई के बल पर यहां आए हैं, वो मुंह की खाएंगे. बीजेपी प्रजातंत्र के चीरहरण करने में लगी है. हमने किसान आंदोलन का समर्थन राजनीतिक रोटियां सेकने के लिए नहीं किया था.”
वहीं मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कहा, “हम तीनों राज्यसभा सीटें जीत रहे हैं. हम चाहते हैं कि इस बार ऐसे परिणाम आने चाहिए जिससे कि भविष्य में कोई हॉर्स ट्रेडिंग करने का प्रयास न करे. बीजेपी वाले हॉर्स ट्रेडिंग की जो ये परंपरा डाल रहे हैं, भैरोंसिंह जी थे तबसे ही मैं देख रहा हूं. उनको तंग किया गया और उनको ले जाना पड़ा चोखी ढाणी के अंदर अपने विधायकों को, अपनी ही पार्टी के विधायकों को, ये परंपराएं जो बीजेपी वाले डाल रहे हैं, हम चाहते हैं कि इस बार इनको ऐसा सबक मिलना चाहिए कि भविष्य में ऐसी नौबत ही नहीं आए. इस बार तीनों सीटें हम जीत रहे हैं. आराम से कोई दिक्कत नहीं आ रही है और हमारा कुनबा एकजुट है.”
कडी सुरक्षा के बीच चार्टर प्लेन से कांग्रेस विधायकों को उदयपुर से जयपुर लाया गया. शुक्रवार सुबह 9:00 बजे सुरक्षा के बीच सभी विधायकों को राजस्थान विधानसभा लाया जाएगा, जहां राज्यसभा चुनाव के लिए मतदान करेंगे. दरअसल, कांग्रेस को क्रॉस वोटिंग का डर सता रहा है इसलिए पिछले 7 दिन से विधायक उदयपुर में एक पांच सितारा होटल में बाड़ी बंदी में थे और अब भी कड़ी निगरानी में है. पुलिस एस्कॉर्ट के साथ विधायकों को होटल ले जाया गया. इन विधायकों में कांग्रेस विधायकों के साथ निर्दलीय और सहयोगी दल भारतीय ट्राईबल पार्टी और सीपीएम के विधायक भी शामिल हैं.