अयोध्या. श्रीराम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट ने गुरुवार को कहा कि अयोध्या में राम मंदिर परिसर का निर्माण कार्य इस साल दिसंबर तक पूरा हो जाएगा. अधिकारियों ने कहा कि 22 जनवरी को रामलला की मूर्ति की प्राण प्रतिष्ठा के बाद से लगभग 75 लाख भक्त मंदिर में आ चुके हैं. मंदिर ट्रस्ट के सदस्य अनिल मिश्रा ने कहा कि वर्तमान में लगभग 1,500 कामगारों को लगाया गया है और तीन मंजिला मंदिर भवन की शेष दो मंजिलों को बनाने में तेजी लाने के लिए 3,500 से अधिक अतिरिक्त मजदूरों को जल्द ही तैनात किया जाएगा. गौरतलब है कि मंदिर का भूतल पिछले साल दिसंबर में बनाया गया था
अनिल मिश्रा ने कहा कि हाल ही में मंदिर निर्माण समिति की एक बैठक हुई. इस साल के अंत तक राम जन्मभूमि परिसर में सभी निर्माण पूरा करने का फैसला लिया गया. उन्होंने कहा कि गर्भगृह मंदिर के भूतल पर है और भगवान राम का दरबार पहली मंजिल पर बनाया जाएगा क्योंकि रामलला के दर्शन के बाद भक्त भगवान राम के दरबार के दर्शन कर सकेंगे. मंदिर ट्रस्ट के सदस्य ने बताया कि भव्य मंदिर के मुख्य शिखर और दूसरे शिखर के निर्माण का काम तेजी से चल रहा है, जबकि शिखर 300 दिनों में बनकर तैयार हो जाएंगे. मंदिर में कुल पांच शिखर होंगे, जिनमें से तीन शिखर अभिषेक समारोह से पहले तैयार किए गए थे. मिश्रा ने कहा कि मुख्य शिखर 161 फीट ऊंचा बनाया जा रहा है, जिस पर सोने की परत चढ़ाई जाएगी.
सात ऋषियों के मंदिर भी बनाए जाएंगे
राम मंदिर ट्रस्ट के सदस्य अनिल मिश्रा ने कहा कि भक्तों को बारिश और धूप से बचाने के लिए मंदिर का ‘परकोटा’ भी मानसून आने से पहले तैयार हो जाएगा. उन्होंने कहा कि परिसर में परकोटा के किनारे छह देवी-देवताओं के मंदिर बनाए जाएंगे. इसके अलावा सात ऋषियों के मंदिर भी बनाए जाएंगे. उन्होंने कहा कि मंदिर को बनाने वाली कंपनी एलएंडटी राजस्थान, गुजरात, बिहार और उत्तर प्रदेश से कामगारों की एक सेना को मैदान में उतारने जा रही है. कामगारों की संख्या फिलहाल 1,500 है. मिश्रा ने कहा कि परिसर में वाल्मिकी, वशिष्ठ, विश्वामित्र, अगस्त्य के साथ-साथ निषादराज और अहिल्या सहित प्राचीन धार्मिक ग्रंथों में वर्णित हिंदू संतों के मंदिर भी बनाए जाने हैं