उत्तरप्रदेश की राजधानी अभी बरसात का सितम झेल रही है ,24 घंटे अब तक जितनी बारिश हुई वो अब तक के सारे रिकार्ड तोड़ दी, देश के मैदानी क्षेत्रों में कई जगहों पर भारी बारिश देखने को मिल रही है. बीते 24 घंटों के दौरान भी कुछ इलाकों में काफी ज्यादा बरसात देखने को मिली.
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जहां पिछले 24 घंटों के दौरान उत्तर प्रदेश, हिमाचल प्रदेश, गुजरात, पंजाब एवं अंडमान और निकोबार द्वीप समूह के कुछ स्थानों पर मध्यम से भारी बारिश देखी गई और कई जगहों पर गरज के साथ बौछारें पड़ीं. लेकिन पूरे देश में सबसे ज्यादा बारिश होने का रिकॉर्ड लखनऊ के नाम रहा. पिछले 24 घंटों में उत्तर प्रदेश की राजधानी में 128 मिमी की भारी बारिश दर्ज की गई. यह देश में किसी भी जगह पर हुई बारिश में सबसे ज्यादा है.
पिछले 24 घंटों में सबसे ज्यादा वर्षा वाले 10 शहरों की बात करें तो उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ सूची में सबसे ऊपर है, जहां 128 मिमी की भारी बारिश दर्ज की गई. भारी बारिश के कारण लखनऊ में जनजीवन काफी अस्त व्यस्त हुआ है. राजधानी के अधिकांश इलाकों में भारी जलभराव देखने को मिला है. इससे शहर की व्यवस्था चरमराई हुई दिखी
स्काईमेट के अनुसार, सबसे ज्यादा बारिश वाले अन्य शहरों की ओर देखें तो लखनऊ के बाद सबसे ज्यादा बारिश गुजरात के गोपालपुर में हुई, जहां 91 मिमी बारिश दर्ज की गई. इसके बाद उत्तर प्रदेश के फुरसंतगंज में 73 मिमी बारिश देखी गई. वहीं, गुजरात के वल्लभ विद्यानगर में 65 मिमी, हिमाचल प्रदेश के धर्मशाला में 60 मिमी, अंडमान और निकोबार द्वीप समूह के कार निकोबार में 56 मिमी बारिश दर्ज की गई.
मौसम पूर्वानुमान एजेंसी के अनुसार, यूपी के बहराइच में 55 मिमी, गुजरात के बड़ौदा में 49, अंडमान और निकोबार द्वीप समूह के माया बंदर पर 48 मिमी और चंडीगढ़ में 46 मिमी बारिश दर्ज की गई.
इस तरह बीते 24 घंटों में लखनऊ में हुई बारिश में अन्य सभी शहरों को पछाड़ दिया. लखनऊ (Lucknow) में जारी भारी बारिश को देखते हुए जिला प्रशासन ने एडवाइजरी की है. साथ ही हेल्पलाइन नंबर भी जारी किए हैं. एडवाइजरी में जिला प्रशासन ने कहा है कि राजधानीवासी बेवजह घरों से निकलने से बचें. बहुत ज्यादा जरूरी होने पर ही घरों से बाहर निकलें. भीड़भाड़ वाले इलाके और ट्रैफिक जाम से लोग बचे. इसके अलावा खुले सीवर, बिजली के तार, खंभों से बचकर रहें. शहर में लगातार तेज हवाओं के साथ बारिश के चलते कई इलाकों में पेड़ गिरने और जगह जगह जलभराव से यातायात में दिक्कतें आ रही हैं.