जयपुर. रक्षाबंधन के पर्व पर राजस्थान की अशोक गहलोत सरकार ने प्रदेश की महिलाओं और बेटियों को बड़ा तोहफा दिया है. रक्षाबंधन पर महिलायें और बेटियां राजस्थान की सीमा के अंदर प्रदेशभर में कहीं पर भी रोडवेज बस में ‘फ्री’ यात्रा (Free travel in roadways bus) कर सकती हैं. इसके आदेश जारी कर दिये गये हैं. इसके चलते राजस्थान के सबसे बड़े बस अड्डे जयपुर के सिंधी कैम्प समेत सभी शहरों और कस्बों में रोडवेज की बसों में महिलाओं की भारी उमड़ रही है. राजस्थान में बीते कई बरसों से राज्य सरकारें रक्षाबंधन पर महिलाओं और बेटियों को फ्री यात्रा का तोहफा देती आ रही है. फ्री यात्रा की छूट साधारण और एक्सप्रेस बसों में रही रहेगी. लग्जरी बसों को इस छूट के दायरे से अलग रखा गया है.
रक्षाबंधन पर्व पर महिलायें और युवतियां भी इसका जमकर फायदा उठाती हैं. जयपुर के सिंधी कैम्प पर तो अग्रिम आरक्षण के लिये एक दिन पहले बुधवार को ही महिलाओं की भारी भीड़ नजर आई. रक्षाबंधन पर भाइयों को राखी बांधने घर जाने के लिये महिलाओं और युवतियों की भीड़ टूट पड़ी. इससे सिंधी कैंप पर इंतजाम चरमराने लगे. राखी के पहले दिन के हालात देखकर रोडवेज प्रबंधन के भी पसीने छूटने लगे. उसे अतिरिक्त बसों की व्यवस्था करने के लिये सोचने पर मजबूर होना पड़ा.
फ्री यात्रा राज्य की सीमाओं के अंदर ही रहेगी
राजस्थान रोडवेज के प्रवक्ता सुधीर भाटी के मुताबिक रक्षाबंधन पर महिलाओं और युवतियों की फ्री यात्रा कराने के राज्य सरकार निर्देशों के बाद इसकी पूरी तैयारियां कर ली गई हैं. रोडवेज के सभी अधिकारियों को सूचित किया गया है कि बस डिपो पर अतिरिक्त बसों का फेरा लगाने की आवश्यकता हो तो लगाया जा सकता है. महिलाओं के लिए ये फ्री यात्रा राज्य की सीमाओं के अंदर ही रहेगी. महिलाओं के साथ यात्रा करने वाले पुरुषों को फ्री यात्रा की छूट नहीं मिलेगी.
रोडवेज के सभी स्टैंड्स पर महिलाओं की भारी भीड़ उमड़ रही है
बहरहाल राजस्थान में लगभग सभी रोडवेज बस स्टैंड्स पर महिलाओं की भारी भीड़ उमड़ रही है. रोडवेज में महिलाओं की भीड़ देखकर पुरुष यात्री इन बसों में चढ़ने की हिम्मत नहीं जुटा पा रहे हैं. सिंधी कैम्प बस स्टैंड पर मौजूद कुछ महिलायें सरकार के इन इंतजामों से नाखुश भी नजर आई. उनका कहना था कि रोडवेज हर बार रक्षाबंधन पर इन हालात से रू-ब-रू होता है फिर भी पहले से अतिरिक्त बसों की व्यवस्था नहीं की जाती. हालात बिगड़ने पर रोडवेज अतिरिक्त बसें लगाता है लेकिन तब तक महिलायें परेशानियां झेल चुकी होती हैं.