देहरादून. उत्तराखंड कांग्रेस के दिग्गज नेता अब जल्द ही राज्य में मज़बूत विपक्ष के तौर पर दिखेंगे और सरकार के खिलाफ सड़कों पर भी उतरेंगे. यह बात पूर्व मंत्री हरक सिंह रावत और पूर्व नेता प्रतिपक्ष प्रीतम सिंह ने सोमवार को एक मीटिंग के बाद कही. दरअसल, सोमवार सुबह से ही कांग्रेस के खेमे में भारी गहमागहमी रही. सुबह ही कांग्रेस से 45 साल जुड़े रहे आरपी रतूड़ी व अन्य नेताओं ने पार्टी से इस्तीफा दिया और दोपहर में आम आदमी पार्टी जॉइन कर ली. इसके बाद शाम को हरक सिंह के घर कई कांग्रेसी नेता बैठक करते दिखे.
हरक सिंह के घर पहुंचने वालों में प्रीतम सिंह गुट के कई नेता शामिल थे. उपनेता प्रतिपक्ष भुवन कापड़ी, गंगोत्री के पूर्व विधायक विजयपाल सजवाण पूर्व विधायक राजकुमार आदि नेताओं की इस बैठक के बाद हरक ने कहा, अब उत्तराखंड में विपक्ष कमज़ोर दिख रहा है. ‘मैं जब नेता विपक्ष था, कांग्रेस सड़क से सदन तक लड़ती थी. इस वक्त प्रदेश में खालीपन दिख रहा है.’ इन नेताओं ने आपस में बातचीत कर एक बड़ी पहल या फैसला करने का इशारा दिया.
हरीश रावत और करन मेहरा पर निशाना!
असल में कांग्रेस ने पिछले दिनों युवा चेहरे करन मेहरा को प्रदेश अध्यक्ष बनाकर पार्टी के भीतर की गुटबाज़ी को खत्म करने के लिए एक बड़ा दांव खेलते हुए मेहरा से उम्मीद लगाई थी. दूसरी ओर, पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने पिछले दिनों यह बयान देकर सबके कान खड़े कर दिए थे कि 2027 का चुनाव उनका आखिरी चुनाव होगा. अब हरक सिंह ने इन दोनों नेताओं को निशाना बनाते हुए कहा, ‘अब हरीश रावत की उम्र काफी हो गई है और भले ही युवा को कमान दी गई हो, लेकिन कई बार नये नेता भी बड़े काम नहीं कर पाते.’
प्रीतम सिंह ने मिलाए सुर में सुर
हरक सिंह ने कहा, ‘एक पड़ाव पर पहुंचने और बड़े पदों पर रहने के बाद गंभीरता होनी चाहिए. अब टोटकों की राजनीति का समय नहीं है.’ हरक के बयान का समर्थन करते हुए प्रीतम सिंह ने भी कहा कि हरक ठीक कह रहे हैं. ‘हमें किसी का डर नहीं है और हम जल्द सड़कों पर दिखेंगे.’ असल में इस मीटिंग को बड़े रोल में हरक की वापसी के तौर पर समझा जा रहा है.
तीन नेताओं के आप जॉइन करने का मतलब?
राजेंद्र प्रसाद रतूड़ी के साथ ही प्रदेश महिला कांग्रेस उपाध्यक्ष कमलेश रमन और कांग्रेस के सोशल मीडिया सलाहकार कुलदीप चौधरी ने सोमवार को आम आदमी पार्टी जॉइन की तो इसे कांग्रेस के लिए बड़ा झटका माना गया. पीटीआई की खबर के मुताबिक उत्तराखंड आप के संयोजक और पूर्व कांग्रेसी जोत सिंह बिष्ट ने बताया कि दिल्ली के उप मुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया की मौजूदगी में तीनों को पार्टी की सदस्यता दिलाई गई.
बताया जा रहा है कि तीनों नेताओं ने विधानसभा चुनाव में हारने के बावजूद कांग्रेस के भीतर चल रही कलह को पार्टी से खिन्नता की वजह बताया. इन तीन नेताओं के कांग्रेस छोड़ने के बाद हरक सिंह के घर हुई बैठक ने भी राज्य की राजनीति में हलचलों व अटकलों का बाज़ार गर्म कर दिया. कुछ लोग तो यहां तक कहते दिखे कि जल्द ही कांग्रेस के दिग्गज नेता भी पार्टी से अलग नज़र आएं तो हैरानी नहीं होनी चाहिए.