पासवान परिवार के जारी जंग में कई नेताओं की छुट्टी होना संभव दिख रहा है दरअसल चिराग पासवान समर्थक के जिलाध्यक्ष पर पारस गुट हावी है तो वही पशुपति पारस के द्वारा बनाए गए जिलाध्यक्ष को चिराग पासवान वहां से हटा सकते हैं क्योंकि दोनों ही नेताओं का तर्क है कि या तो कार्यकर्ता जिलाध्यक्ष को पसंद नहीं करते अथवा वह उन्हें पसंद नहीं है पार्टी पर अपनी पकड़ मजबूत करने के लिए चिराग और पारस खेमा अपने-अपने दांव खेल रहे हैं. लोजपा में हुई टूट के बाद अब पासवान परिवार और पार्टी दोनों में दो खेमा बन चुका है. लोजपा का असल दावेदार कौन होगा, इसकी लड़ाई चरम पर है. पार्टी पर अभी तक दोनों की दावेदारी बनी हुई है. चुनाव आयोग का इस मसले पर फैसला आना बाकी है, लेकिन हालात ऐसे हैं कि पार्टी में अभी दोनों खेमा अपना अलग राष्ट्रीय अध्यक्ष, प्रदेश अध्यक्ष के बाद अब जिला स्तर पर भी बड़ा बदलाव करने जा रहा है.
पार्टी सूत्रों के मुताबिक, पारस गुट अब जिला स्तर पर पार्टी में बदलाव करने की तैयारी में है. पशुपति कुमार पारस गुट चिराग पासवान के समर्थक जिलाध्यक्षों की छुट्टी करने की तैयारी में है. इसे लेकर लिस्ट भी तैयार की जा रही है. यह बदलाव कई जगहों पर होगा. पारस गुट अब ऐसे जिलाध्यक्षों को हटाकर अपने समर्थक को जिम्मेदारी सौंपेगा. बताया जा रहा है कि नये नामों पर अभी विचार किया जा रहा है और जल्द ही इसपर अंतिम मुहर लगा दी जाएगी.
पारस गुट की दलील
पारस गुट का तर्क है कि कई जगहों पर चिराग पासवान ने जबरन ऐसे जिलाध्यक्षों को थोप दिया था, जिसे वहां के कार्यकर्ता पसंद नहीं करते हैं. उन्होंने बताया कि कई जिलाध्यक्ष सक्रिय भी नहीं रहते हैं, जिसके कारण पार्टी को नुकसान होता है. जल्द ही इन्हें बदलकर नये चेहरे को जिम्मेदारी सौंपी जाएगी.